-- मिनी मैडिसिटी
कार्ययोजना और गृहकर ब्याज माफी को शासनादेश जारी होंइंट्रीगेटिड मैन्यूफैक्चरिंग क्लस्टर (हब) : फाइल फोटो
आगरा: इंडियन चैम्बर आफ इंडस्ट्रीज ऐंड कामर्स यू पी ने आगरा में 1050 एकड़ में इंटीग्रिटी मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर बनाये जाने के शासन के निर्णय को एक महत्वपूर्ण कदम माना है। अपेक्षा की है, कि इस पर राज्य में होने वाले विधान सभा चुनाव की अधिसूचना जारी होने से पूर्व ही कार्य शुरू करवा दिया
जाये।चैंबर ने मुख्य मंत्री से
अनुरोध किया है कि इस परियोजना में आगरा के लिए उपयुक्त उद्योगों - 200 से 250 एकड़ में
आईटी सिटी, 150 से 200 एकड़ में सोलर सिटी, 200 एकड़ में
गारमेंट हब, फ़ूड प्रोसेसिंग एवं हेंडीक्राफ्ट हब आदि की योजनाये अत्यंत
महत्वपूर्ण व निवेशकों को आकर्षित करने वाली हैं अत: इन्हें शीघ्रता से मंजूरी
दिलवाये जाने की प्रक्रिया शुरू की जाये।
चैंबर की ओर से अध्यक्ष
मनीष अग्रवाल ने 'इंटीग्रिटी
मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर' को बनाये जाने की योजना के साथ ही उ प्र विधान सभा चुनाव
होने से पूर्व पांच अन्य योजनाओं पर कार्य शुरू करवाये व पूरा करवाने पर भी बल
दिया है।
इन सुझाये पांचमुद्दों
में एसएन हॉस्पिटल एवं लेडी लॉयल को
मिलाकर 45 एकड़ भूमि में मिनी मेडिसिटी बनाए जाने का प्रस्ताव भी
शामिल है। चैंबर अध्यक्ष मनीष अग्रवाल का कहना है कि यह प्रस्ताव कैबीनेट की
मंजूरी के लिये गया हुआ है।
इसके संबध में शासनादेश
जारी होते ही आगरा में दिल्ली की तर्ज पर एम्स खोले जाने का मार्ग प्रशस्त हो
जायेगा।जिसके खुलते ही आगरा के नागरिकों को गंभीर बीमारियों का इलाज करवाने अन्य
जगह जाने की जरूरत नहीं रह जायगी।
गृहका ब्याज माफी
चैम्बर ने एक अन्य अपेक्षा
पुराने गृहकर पर लगने वाले ब्याज की माफी को लेकर शासन से की है। चैंबर अध्यक्ष
के अनुसार नगर निगम द्वारा उत्तर प्रदेश सरकार को गृह कर पर संपूर्ण ब्याज माफी का
प्रस्ताव नगर निगम से पास कराकर शासन को भेजा है। इस प्रस्ताव को भी कैबिनेट से
पास होना है।
आई टी पार्क
चैंम्बर आई टी इंडस्ट्री
के होते विस्तार तथा व्यवस्थित अपग्रेडेशन को दृष्टिगत आगरा में आईटी पार्क, (एसटीपीआई)
प्रोजेक्ट योजना के तत्काल क्रियान्वयन को सामायिक आवश्यक्ता मानता है। यह
पार्क सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क्स ऑफ़ इंडिया लि. के द्वारा बनाया जा रहा है। एसटीपीआई का निर्माण 2015 से चल
रहा है। 6 मंजिला
पास इस आईटी पार्क में अभी तक 1 मंजिला इमारत भी पूर्ण नहीं हुई है। चेंबर ने मुख्यमंत्री से अनुरोध किया है कि
संबंधित अधिकारियों को निर्देश जारी किए जाएं कि इस बहुप्रतीक्षित आईटी पार्क के
निर्माण कार्य को शीघ्र पूरा कराया जाए ताकि अधिक से अधिक युवाओं को रोजगार मिल
सके ।
यमुना नदी की डीसिल्टिंग
यमुना नदी में मानसून से
लेकर अक्टूवर तक भरपूर पानी रहता है किन्तु इसकी भूजल स्त्रोतों के रिचार्ज
करने की क्षमता सीमित ही रह गयी है।इसके लिय नदी में चैंबर के द्वारा डिसिल्टिंग
के लिए मुख्यमंत्री का ध्यान आकर्षित किया गया है।चैंबर अध्यक्ष का मानना है
कि कैलाश से ताजमहल तक यमुना नदी में 8 से 10 फुट जमा
कीचड़ को साफ़ करवा दिया जाये तो लगभग 18 कि मी के नदी तटीय क्षेत्र का स्वरूप ही बदल जायेगा
साथ ही भूगर्भ जल की मौजूदा स्थिति में भी सुधार होगा। अध्यक्ष श्री मनीष
अग्रवाल का कहना है कि पूर्व में चैबर के
अनुरोध परएक ड्रेजर मशीन आगरा भेजी गई थी किंतु बाद में उसे लखनऊ वापस मंगवा लिया गया था।
वर्तमान में नदी में बडे पैमाने पर गाद जमी हुई है और आठ से दस फुट तक
डीसिल्टिंग की गुंजायिश है।
लॉ विश्वविद्यालय
चैंबर ने आगरा में नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी( एन एल
यू) की स्थापना पर बल दिया है। आगरा विधि
संबधित गतविधियों का हमेशा से केन्द्र रहा है।एन एल यू या विधि शिक्षा से संबधित
ही पूर्ण वि वि की स्थापना से आगरा में स्तरीय विधिशिक्षा प्राप्त करने का अवसर
बढ जायेगा।
फिलहाल चैंबर की ओर से
पत्र ही लिखा गया है,अगर जश्ररत पडी तो चैंबर अध्यक्ष के नेतृत्व में एक
प्रतिनिधि मंडल भी मुख्यमंत्री से मिलेगा।