-- खैबर-पख्तूनख्वा प्रांत के स्वात जिले में चल रही थी सुनवायी
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| (मलाला अब एक शस्यित से आगे :एक संघर्ष नायिका भी) | 
श्रीनगर । आतंकवाद के आगे लगभग झुकने की स्थिति में पहुंचे हुए पाकिस्तान में एक आतंकवाद रोधी अदालत ने विश्व में बच्चो खासकर लडकियों की शिक्षा का प्रतीक बन चुकी मलाला यूसुफजई पर घातक हमला करने वाले बिलाल, शौकत, सलमान, जफर इकबाल, इसरारउल्लाह, जफर, अली, इरफान, इजहार, अदनान और इकराम आदि आतंकवादियों को 25 साल की सजा सुनायी है।मलाला पर 2012 मं हमला हुआ था और ये सभी पुलिस जांच में उसमें लिप्त पये गये थे। हमलावरों
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| (स्वात अभी शांत नहीं) | 
में से एक इसरारउल्लाह को सबसे पहले गिरफ्तार किया गया था।बाद में उसी की ही निशान देही के आधार पर ही अन्य हमलावरों को गिरफ्तार किया गया था। कानूनी प्रक्रिया खैबर-पख्तूनख्वा प्रांत के स्वात जिले में स्थित एटीसी कोर्ट ने आतंकवाद रोधी कानूनों के तहत यह सजा दी।हमलावरो को प्रारंभ में सेना ने गिरफ्तार किया था तथा बाद में उन्हे सिविल पुलिस के हाथ सोंप दिया था।
  हमलावरो
ने यह कार्रवाही  तहरीक-ए-तालिबान के
बंदूकधारियों के रूप में अंजाम देने को की थी उस दौरान वह 14 साल की थी और स्कूल बस में
सवार होकर जा रही थी। पिछले साल ही भारत के कैलाश सत्यार्थी के साथ मलाला यूसुफजई
को शांति के नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। हमले के बाद जीवन संघर्ष कर
रही घायल मलाला को एयरएंबुलेंस द्वारा इलाज के लिए ब्रिटेन ले जाया गया था,
जहां पर उपचार के बाद वह पूरी तरह स्वस्थ हो गईं।