27 फ़रवरी 2018

‘द यंग मैसिंजर’ मैग्‍जीन युवाओं को देगी नई दिशा

--‘ शिवानी ‘  को खुद ही एक ‘नई शिवानी ’  की तलाश
युवाओं का संकल्‍प ' 'द यंग मैसिंजर '  
                      फोटो असलम सलीमी
आगरा : युवा वर्ग की अपनी विशिष्‍ठ सर्जनक्षमता क्षमता को सामाजिक सरोकारों के साथ साहित्‍यत्‍यिक क्षेत्र से जोडने की प्रयास शायिनिंग यूथ फाऊंडेशन के द्वारा ‘द यंग मैसिंजर’ मैग्‍जीन के द्वारा किया जायेगा। नीलेश मिस्‍त्रा, अमित शंकर, तूहिन सिन्‍हा चन्‍द्रजीत वर्मा तथा सुरेन्‍द्र पूनियां जैसे प्रख्‍यात साहित्‍यकार,  मानस की पखेरू जैसी उडान को शब्‍द चित्र के रूप में कागज पर उकेरने में दिशा निर्देशन देने वालों में शामिल होंगे।
युवाओं और साहित्‍यिक गतविधियों के प्रति खास रुचिरखने वाली समाज सेवी डा शिवानी चतुर्वेदी ने गायत्री स्‍कूल में आयोजित पत्रकार वार्ता में कहा कि ‘द यंग मैसिंजर ‘ एक विशिष्‍ठ प्रयोग होगा ।स्‍वमी विवेकानन्‍द के विचार, रानी लक्ष्‍मीबाई की विचारधारा, भावी भारत की कल्‍पना तथा युवाओं के लिये सरकार की योजनाओं का समावेश  मैग्‍जीन की विशिष्‍ठतायें होंगीं। दस हजार प्रतियों का युवाओं में निशुल्‍क वितरण इसे व्‍यापक पहुंच वाला
बनायेगा। 
‘ मोटोवेशन’ विधा के लिये अपनी खास पहचान रखने वाले श्री दीपक राघव ने कहा कि युवा शक्‍ति की अपनी ऊर्जा होती है सही दिशा मिलने पर राष्‍ट्र निर्माण में अत्‍यधिक सार्थक और परिणाम दायी साबित हो सकती है।  उन्‍होंने उम्‍मीद जतायी कि ‘शाइनिंग यूथ फाऊंडेशन’ का प्रयास सार्थक साबित होगा। संस्‍था के अध्‍यक्ष ब्रिजेश सिंह ने बताया कि पूर्व के अनुभव उनके साथ है, कम समय में सक्रियता के कारण फाऊंडेशन की पहचान बन चुकी हे। उन्‍होंने फाऊंडेशन के कई अन्‍य कार्यक्रमों व योजनाओं की भी जानकारी दी। पीयूष अग्रवाल, कार्यकारी अध्‍यक्ष अभिषेक कपूर यश्‍वी गुप्‍ता, और देवाशीष शर्मा, देवांश भट्ट आदि पदाधिकारियों ने भी प्रेस वार्ता को संबोधित किया।
पुष्‍पेन्‍द्र तोमर, हर्ष सोनी, अर्पणा मेहोरत्रा, श्रति बंसल, कनिका भार्गव, राशि खंडलवाल, तान्‍या सहगल, शुभी, वैशाली, यश, इशांत, रोहतांक अनमोल शुभव, प्रीति, अन्‍नति टंडन, हर्ष शर्मा आदि संस्‍था के सदस्‍यगण भी इस अवसर पर  में मौजूद थे।
शिवानी को नई ' शिवानी ' की तलाश  
(डा शिवानी चतुर्वेदी )
-फोटो:असलम सलीमी
समाज सेवी डा शिवानी चतुर्वेदी को उस नई शिवानी की तलाश है जो कि उसी प्रकार ऊर्जा से सक्रिय रहे जिस प्रकार वह रहती आयी हैं। उन्‍होंने कहा कि वह अपनी प्रतिबद्धताओं के लिये जिंदगी की सक्रिय अवधि का पचास प्रतिशत समय लगा चुकी है, इस लिये उनकी चिंता स्‍वभाविक है। हालांकि अभी  फिफ्टी परसैंट जो बचा है उसमें भी काफी कुछ करने का उनका जज्‍बा है। शाइनिंग यूथ फाऊंडेशन से अपने जुडाव की जानकारी देते हुए बताती है कि इस प्रेस कांफ्रेंस से पहले अपने एक साल के कार्यकाल में फाऊंडेशन तीन बार प्रेस कांफेंस और कर चुकी है किन्‍तु अनुरोध के बावजूद वह उनमें शरीक नहीं हुई । दरअसल वह चाहती थीं कि उनकी गैर मौजूदगी में नयो को मौका मिले और उनमें कान्‍फीडैंस बढे । कमोवेश उन्‍हे अपना  यह प्रयोग कामयाब लग रहा है।