भ्रष्टाचार रोधी कानून में संशोधनों से ईमानदार अफसरों को संरक्षण मिलेगा कहा केंद्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली ने।वर्तमान भ्रष्टाचार रोधी अधिनियम 1998 में आर्थिक उदारीकरण से पहले तैयार किया गया था और तत्कालीन व्यवस्था की आवश्यकताओं के अनुरूप था।अरूण जेटली ने कहा कि आर्थिक उदारीकरण के दौर में बने भ्रष्टाचार रोधी कानून के मूल तत्वों में परिवर्तन लाए जाने की जरुरत है। इसका मुख्य कारण है कि अब सरकारी कर्मचारी, बैंक और राजनेता मिलकर वित्तीय निर्णय लेते हैं। यह कानून संसद में पेश के बाद प्रवर समिति ने मामूली परिवर्तनों का सुझाव दिया है।