8 सितंबर 2017

आगरा बैराज और ताज बैराज डी पी आर होंगी अपडेट

--बैराज प्रोजैक्‍ट में  स्प्रिंक्लर इरीगेशन का कमांड एरि‍या वि‍कसि‍त करने की योजना भी जुडेगी
 प्रेस वार्ता संबोधि‍त करते हुए अवधेश उपाध्‍याय:फोटो असलम सलीमी
 आगरा: महानगर का पेयजल संकट सीमि‍त करने के लि‍ये सि‍कन्दरा के अपस्ट्रीपम में बैराज बनायी जायेगी। यह बहुउद्धेश्यीय होगी । इसके लि‍ये डी पी आर अपडेट करने का कार्य  सि‍चाई वि‍भाग के द्वारा कि‍या जायेगा। यह जानकारी जलाधि‍कार फाऊंडेशन के राष्ट्रीय सचि‍व अवधेश उपाध्याय ने देते हुए बताया कि‍ बैराज का यह प्रोजैक्ट अभि‍यंताओं की उच्च स्तरीय समि‍ति‍ से पूर्व में ही स्वीकृत है केवल इसे अपडेट करने
की औपचारि‍क्ता पूरी होनी है।
शासन की ओर से प्रमुख अभि‍यंता (परि‍योजना) सि‍चाई एवं जल संसाधन वि‍भाग  इं. कुनाल कुलश्रेष्ठ ने   अधीक्षण अभि‍यंता तृतीय मंडल सि‍चाई कार्य को पत्र  जारी कर आगरा बैराज (सि‍कन्दरा) तथा ताज बैराज परि‍योजना को पुनरीक्षि‍त करने के लि‍ये पत्र जारी कर नि‍र्देशि‍त कि‍या है। उन्‍होंने कहा है कि‍ इनमें स्प्रिकलर के द्वारा सि‍चाई सुवि‍धा कमांड एरि‍या काे परि‍योजन सम्मलि‍त कि‍या गया है।अत:पुनरीक्षण में  भी इस कार्य को सम्मलि‍त कि‍या जाये। जलसधि‍कार फाऊंडेशन के राष्ट्रीय सचि‍व श्री अवधेश उपाध्याय ने कहा है कि‍ शासन का यह पत्र शीघ्र ही आगरा में संबधि‍त अधि‍कारि‍यों के पास पहुंच जायेगा और इसके अनुरूप काम भी शुरू हो जायेगा। श्री उपाध्याय जो कि‍ कमला नगर स्थित दाऊजी मि‍ष्ठान भंडार के रैस्टोररैंट में पत्रकारों से वार्ता कर रहे थे ने कहा कि‍ आगरा में अब तक केवल पीने के पानी के लि‍ये ही बैराज बनाये जाने की बात की जाती थी या फि‍र ताज बैराज से महानगर के वाटर-वर्क्स सि‍स्टम को रॉवाटर दि‍लवाये जाने जैसे अव्यवहारि‍क फार्मूले सरकार को वि‍भि‍न्न् माध्यमों से सुझाये जाते रहे थे।फलस्वरूप क्रि‍यान्वत नहीं हो सके। जबकि‍ जलाधि‍कार फाऊंडेशन ने शुरू से ही यह मान लि‍या था कि‍ ताज बैराज केवल ताजमहल के रि‍यर रि‍वर फ्रंट की शोभा बढाने और भूगर्भ जल रि‍चार्ज करने तक ही सीमि‍त उद्धेश्य पूरा कर सकती है। इसी प्रकार से यह भी मान लि‍या था कि‍ न तो जलसंस्थन न ही नगर नि‍गम आगरा बैराज के संचालन और अनुरक्षण का खर्च कभी अकेले   उठा सकते हैं। इसी लि‍ये इन दोनों ही बैराजों को सि‍चाई की स्प्रिकलर पद्यति‍ के कमांड एरि‍या योजना से जुडवाने का प्रयास कि‍या। संयोग से शासन ने इसे स्वीकार कर लि‍या। फलस्वरूप अब बैराज बहुउद्येश्यीय होंगे और सि‍चाई वि‍भाग इनके प्रबंधन व अनुरक्षण में सहभागी होगा।
--यमुना का अवि‍रल बहाव-- प्रवाह
 श्री उपाध्याय ने कहा कि‍ उनकी चि‍ता यमुना नदी में अवि‍रल बहाव की स्थिति‍ को बनाये रखने के लि‍ये प्रचुर जलराशि‍ की उपलब्धपता को सुनि‍श्चि‍‍त करवाने को लेकर भी है।नदी की इस जरूरत और जनअपेक्षा को दृष्टिगत भी जलाधि‍कार फाऊंडेशन की टीम सक्रि‍य है। मानसून कालीन उफान को थाम कर यमुना नदी को समर्पि‍त जलाशयों के रूप में इसे जरूरत के समय उपयोग में लाये जाने की योजना बनाने का  प्रयास है। इससे संबधि‍त एक बृहद व्यवहारि‍क योजना भी उनके द्वारा सरकार और जनता के बीच शीघ ही लाये जाने का प्रयास है।
पत्रकार वार्ता में सर्वश्री चरन जीत सि‍ह थापर, डा अनुराग शर्मा,ई.तत्सम शर्मा, ई. दि‍वाकर ति‍वारी, राजीव सकसेना, वीरेन्द्रे भारद्वाज, अजि‍त गर्ग एडवोकेट, श्रीमती एकता अग्रवाल, डा मीता कुलश्रेष्ठू, वि‍मल जैन, अनूप कुमार नि‍ति‍न अगवाल, शशि‍कांत उपाध्याजय, सी ए शुशांत सि‍घल , तथा ओपी शर्मा आदि‍ की सहभागि‍ता रही।