26 मार्च 2017

ताज सिटी की पब्‍लिक चाहती है ‘आगरा बैराज’ के लिये सीधा एक्‍शन

--- रेलवे की जल नीति के तहत सुधारे जायेंगे पुराने तालाब

(रेलमंत्री सुरेश प्रभु कैलाश गोदुका एवं अवधेश उपाध्‍याय)
आगरा: जल अधिकार फाउंडेशन ने आगरा में बैराज बनाने के मामले को उठाए जाने के साथ  भारत सरकार को याद दिलाया गया कि जिन महत्वपूर्ण जरूरतों को पूरा करने के लिए  आगरा के जनता ने लोक सभा चुनाव के बाद भाजपा को विधान सभा में भी ताकत दी गई थी ' आगरा बैराज 'की मांग उनमें मुख्‍य है।अब इसे पूरा किये जाने की अपेक्षा है। नई दिल्ली में पर्लियमेंट एनैक्सी
के सभागार में विश्व जल दिवस कार्यक्रमों के तहत आयोजित 'जन संवाद' सैमीनर में जलाधिकार फाउन्डेश के राष्ट्रीय जनरल साकेट्री अवधेश उपाध्याय ने कहा कि 'फाउंडेश' के माध्यम से आगरा की जनता बैराज बनाये जाने की मांग पुरजोर तरीके से  भारत सरकार के जल जल संसाधन मंत्रालय के समक्ष रख चुकी है, जिसे कि मंत्रालय के द्वारा  स्वीकार कर प्रदेश सरकार को कार्रवाही के लिये  लिखा गया था। उस समय प्रदेश में दूसरी पार्टी की सरकार थी, जिसने जनता से सीधे जुड़े  इस मामले को गंभीरता से नहीं लिया लेकिन अब भाजपा सरकार सरकार ही सूबे में है। इस लिये जनता  की और ज्यादा अपेक्षा है। श्री उपाध्याय ने कहा कि उन को नहीं लगता है कि इस ममले में अब विलंब होना चाहिए।
श्री उपाध्याय ने कहा कि अगर 'ताज बैराज' की कोई योजना है और उससे आगरा के पर्यटन को बढावा मिलता है तो  उसे लेकर कोई नई बात नहीं कहनी है, चाहे उसे प्लास्टिक बना दिया जाए या फिर रबड़ की। उन्हें तो इस समय सिर्फ आगरा के जनता को पानी उपलब्ध कराए जाने वाले बैराज की अपेक्षा है। जिससे जल संस्थानों के इंटेकवॉलों को भरपूर पानी उपलब्ध करवाया जा सके । उन्होंने कहा कि आगरा में एक एेसा तंत्र सक्रिय है जो कि 'डीपीआर' बनाने और अनुमतियाँ नाम पर किसी भी फाइल पर लाल फीता कसवा दिया करता है। अब ऐसे गैर 'जरूरियों' को आगरा से हटाये जाने की जरूरत है। 

 पूर्व में रेल मंत्री श्री सुरेश प्रभु ने कहा कि वह देश में पानी की बनी चल रही समस्या को समझते हैं, लाटूर जैसे हालात फिर कही और कभी नहीं बने इसे लेकर सक्रिय रहना हैं। प्रख्यात जलसंरक्षणवादी , समाज शास्त्री स्व अनूपम मिश्र को याद करते हुए कहा कि लोकसभा टेलीविजन एन्कर के रूप में कई इंटरव्यू उन्होंने स्वयं भी श्री मिश्र के लिए और बहुत कुछ समझा था।

 श्री प्रभु ने कहा कि रेलवे के लिए उन्होंने जलनीति बनायी है, जिसके तहत रेलवे में अपनी भूमि पर स्थित तालाबों में जल संरक्षण की करावायेगी। पानी की बर्बादी नहीं हो, साथ ही यात्रियों को भरपूर पानी मिले यह इस नीति का लक्ष्य है।सांसद वीरेनद्र सिंह, जलधारा फाउंडेशन के कैलाश गोदुका, सैमिनेर अध्यक्ष गोपाल अग्रवाल, योगेंद्र पाल सिह, मो निजाम, शिवम गोयल, राजेश शर्मा, नितिन अग्रवाल, मयंक भटनागर, हेमंत उपाध्याय,  ओम पाल सिंह, राहुल शर्मा, हेमंत उपाध्याय, विमल जैन, ओम प्रकाश शर्मा, कुशल उपाध्याय, दिवाकर तिवारी, अनूपम शर्मा, पार्षद अशोक कुशवाह, आदि की सैमीनार में भागीदारी रही।